NCERT Solutions for Class 7 Hindi Chapter 1 - Hum Panchi Unmukat Gagan Ke
Chapter 1 - Hum Panchi Unmukat Gagan Ke Exercise प्रश्न-अभ्यास
पक्षी के पास पिंजरे के अंदर वे सारी सुख सुविधाएँ है जो एक सुखी जीवन जीने के लिए आवश्यक होती हैं, परन्तु हर तरह की सुख-सुविधाएँ पाकर भी पक्षी पिंजरे में बंद नहीं रहना चाहते क्योंकि उन्हें बंधन नहीं अपितु स्वतंत्रता पसंद है। वे तो खुले आकाश में ऊँची उड़ान भरना, बहता जल पीना, कड़वी निबौरियाँ खाना ही पसंद करते हैं।
पक्षी उन्मुक्त होकर वनों की कड़वी निबोरियाँ खाना, खुले और विस्तृत आकाश में उड़ना, नदियों का शीतल जल पीना, पेड़ की सबसे ऊँची टहनी पर झूलना और क्षितिज से मिलन करने की इच्छाओं को पूरी करना चाहते हैं।
प्रस्तुत पंक्ति का भाव यह है कि पक्षी क्षितिज के अंत तक जाने की चाह रखते हैं, जो कि मुमकिन नहीं है परन्तु फिर भी क्षितिज को पाने के लिए पक्षी किसी भी स्थिति का सामना करने के लिए तैयार है यहाँ तक कि वे इसके लिए अपने प्राणों को भी न्योछावर कर सकते हैं।
मेरे अनुसार पक्षियों को पालना बिल्कुल भी उचित नहीं है क्योंकि ईश्वर ने उन्हें उड़ने के लिए पंख दिए हैं, तो हमें उन्हें बंधन में रखना सर्वथा अनुचित है। अपनी इच्छा से ऊँची-से-ऊँची उड़ान भरना, पेड़ों पर घोंसले बनाकर रहना, नदी-झरनों का जल पीना, फल-फूल खाना ही उनकी स्वाभाविक पशु प्रवृत्ति है। आप किसी को भी कितना ही सुखी रखने का प्रयास करें परंतु उसके स्वाभाविक परिवेश से अलग करना अनुचित ही माना जाएगा।
एक बार एक घायल कबूतर हमारे घर आ गया। जिसकी हमने देखभाल की और उसके ठीक होने के बाद वह हमारे साथ ही रहने लगा। सब घरवालों के लिए वह कौतूहल का विषय बन गया था। हम सब घरवाले एक नन्हें बच्चे की तरह उसकी देखभाल करते थे। उसे रोज नहलाया जाता। उसके खाने-पीने का बराबर ख्याल रखा जाता। इस प्रकार से हम अपने पक्षी का पूरा ख्याल रखते थे।
पक्षियों को पिंजरों में बंद करने से सबसे बड़ी समस्या पर्यावरण में आहार श्रृंखला असंतुलित हो जाएगी। जैसे घास को छोटे कीट खाते हैं तो उन कीटों को पक्षी। यदि पक्षी न रहे तो इन कीटों की संख्या में वृद्धि हो जाएगी जो हमारी फसलों के लिए उचित नहीं है। इस कारण पर्यावरण असंतुलित हो जाएगा। पक्षी जब फलों का सेवन करते हैं तब बीजों को यहाँ वहाँ गिरा देते हैं जिसके फलस्वरूप नए-नए पौधों पनपते हैं। कुछ पक्षी हमारी फैलाई गंदगी को खाते हैं जिससे पर्यावरण साफ़ रहता है यदि ये पक्षी नहीं रहेंगे तो पर्यावरण दूषित हो जाएगा और मानव कई बीमारियों से ग्रस्त हो जाएगा अत: जिस प्रकार पर्यावरण जरुरी है, उसी प्रकार पक्षी भी जरुरी हैं।
Chapter 1 - Hum Panchi Unmukat Gagan Ke Exercise भाषा की बात
पुलकित-पंख, कटुक-निबौरी, कनक-कटोरी।
अमीर-गरीब, सुख-दुःख, रात-दिन, तन-मन, मीठा-खट्टा, अपना-पराया, पाप-पुण्य, सही-गलत, धूप-छाँव, सुबह-शाम।
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