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Class 12-commerce NCERT Solutions Hindi Chapter 10: Umshankar Joshi

Umshankar Joshi Exercise प्रश्न-अभ्यास

Solution 1

कवि अपने कवि - कर्म को किसान के कर्म जैसा बताता है। कवि कहते हैं कि मैं भी एक प्रकार का किसान हूँ। किसान जमीन पर कुछ बोता है और मैं कागज़ पर कविता उगता हूँ। कवि काव्य-रचना रूपी खेती के लिए कागज़ के पन्ने को अपना चौकोना खेत कहते हैं।

Solution 2

रचना के संदर्भ में अँधड़ का आशय भावनात्मक आँधी से और बीज का आशय रचना विचार और अभिव्यक्ति से है।

Solution 3

कवि ने रचनाकर्म अर्थात् कविता को रस का अक्षयपात्र कहा है। काव्य का आनंद दिव्य व कालजयी होता है। कविता में निहित सौंदर्य, रस और भाव न तो कम होता है, न नष्ट होता है।

Solution 4 - क

'छोटा मेरा खेत' में खेती के रूपक द्वारा काव्य-रचना प्रक्रिया को स्पष्ट किया गया हे। जिस प्रकार धरती में बीज बोया जाता है और वह बीज विभिन्न रसायनों - हवा, पानी, आदि को पीकर तथा विभिन्न चरणों से गुजरकर बड़ा होता है उसी प्रकार जब कवि को किसी भाव का बीज मिलता है तब कवि उसे आत्मसात करता है। उसके बाद बीज में से शब्दरुपी अंकुर फूटते है। उसमे विशेष भावों के पत्ते और फूल पनपते है। 

Solution 4 - ख

साहित्यिक कृति से जो अलौकिक रस-धारा फूटती है, उसमें निहित सौंदर्य, रस और भाव न तो कम होता है, न नष्ट होता है। वह क्षण में होने वाली रोपाई का ही परिणाम है पर यह रस-धारा अनंत काल तक चलने वाली कटाई है।

Solution 5

इन कविताओं में दृश्य (चाक्षुष) बिंब उकेरे गए हैं। 

जैसे -

 छोटा मेरा खेत चौकोना 

 कागज़ का एक पन्ना 

 शब्द के अंकुर फूटे 

 पल्लव-पुष्पों से नमित 

 झूमने लगे फल 

 नभ में पाँती-बँधे बगुलों के पंख 

Solution 6

 भावों रूपी आँधी 

 विचार रूपी बीज 

 पल्लव-पुष्पों से निमित हुआ विशेष 

 कजराले बादलों की छाई नभ छाया 

 तैरती साँझ की सतेज श्वेत काया