Request a call back

Join NOW to get access to exclusive study material for best results

Class 12-science NCERT Solutions Hindi Chapter 4 - Dayari Ke Panne

Dayari Ke Panne Exercise प्रश्न-अभ्यास

Solution 1

ऐन की डायरी अगर एक ऐतिहासिक दौर का जीवंत दस्तावेज है, तो साथ ही उसके निजी सुख-दुःख और भावनात्मक उथल-पुथल का भी क्योंकि इसमें ऐन ने द्वितीय विश्वयुद्ध के समय हॉलैंड के यहूदी परिवारों की अकल्पनीय यंत्रणाओं का वर्णन करने के साथ-साथ, वहाँ की राजनैतिक स्थिति एवं युद्ध की विभीषिका का जीवंत वर्णन किया है।

यहूदियों को तरह-तरह के भेदभाव पूर्ण ओर अपमानजनक नियम-कायदों को मानने के लिए बाध्य किया जाने लगा। गेस्टापो (हिटलर की खुफिया पुलिस) छापे मारकर यहूदियों को अज्ञातवास से ढूँढ़ निकालती और यातनागृह में भेज देती। चारों तरफ अराजकता फैली हुई थी। यहूदी अज्ञातवास में निरंतर अंधेरे कमरों में जीने को मजबूर थे। उन्हें एक अमानवीय जीवन जीने को बाध्य होना पड़ा। हिटलर की नाजी फौज का खौफ उन्हें हर वक्त आतंकित करता रहता था। 

इसलिए इल्या इहरनबुर्ग की यह टिप्पणी कि ''यह साठ लाख लोगों की तरफ से बोलने वाली एक आवाज है। एक ऐसी आवाज जो किसी संत या कवि की नहीं, बल्कि एक साधारण-सी लड़की की है।' सर्वमान्य एवं सत्य है।

Solution 2

यह सत्य है कि लेखक आत्माभिव्यक्ति के लिए लिखता है। ऐन भी अपने अनुभवों को डायरी के माध्यम से व्यक्त करती है। पढ़ाई के लिए उसे कई बार डाँट-फटकार मिलती है। वह एक जगह लिखती है -  

'मेरे दिमाग में हर समय इच्छाएँ, विचार, आरोप तथा डाँट-फटकार ही चक्कर खाते रहते हैं। मैं सचमुच उतनी घमंडी नहीं हूँ जितना लोग मुझे समझते हैं। मैं किसी और की तुलना में अपनी कई कमजोरियों और खामियों को बेहतर तरीके से जानती हूँ।' तथा दूसरे स्थान पर वह कहती है - 'लोग मुझे अभी भी इतना नाक घुसेड़ू और अपने आपको तीसमारखाँ समझने वाली क्यों मानते हैं?'

इस प्रकार ऐन अपनी भावनाएँ डायरी के माध्यम से प्रकट करती है।'

Solution 3

ऐन के अनुसार औरतों को उनके हिस्से का सन्मान मिलना चाहिए। पुरुषों ने औरतों पर शुरू से ही इस आधार पर शासन करना शुरू किया कि वे उनकी तुलना में शारीरिक रूप से ज्यादा सक्षम हैं पुरुष ही कमाकर लाता है बच्चे पालता पोसता है और जो मन में आए, करता है, लेकिन हाल ही में स्थिति बदली है। सौभाग्य से शिक्षा, काम तथा प्रगति ने औरतों की आँखें खोली हैं।

औरत ही तो है जो मानव जाति की निरंतरता को बनाए रखने के लिए इतनी तकलीफों से गुजरती है और संघर्ष करती है। वह जितना संघर्ष करती है, उतना तो सिपाही भी नहीं करते।

ऐनी के कहने का कतई मतलब नहीं है कि औरतों को बच्चे जनना बंद कर देना चाहिए, इसके विपरीत प्रकृति चाहती है कि वे ऐसा करें और इस वजह से उन्हें यह काम करते रहना चाहिए।

ऐनी सिर्फ़ इतना चाहती है की समाज औरतों के योगदान को सराहे।

Solution 4

ऐन की डायरी  से हमें उसके जीवन व तत्कालीन परिवेश का परिचय मिलता है। इसमें द्वितीय विश्वयुद्ध के समय हॉलैंड के यहूदी परिवारों की अकल्पनीय यंत्रणाओं का वर्णन करने के साथ-साथ, वहाँ की राजनैतिक स्थिति एवं युद्ध की विभीषिका का जीवंत वर्णन किया है। यहूदियों को तरह-तरह के भेदभाव पूर्ण ओर अपमानजनक नियम-कायदों को मानने के लिए बाध्य किया जाने लगा। गेस्टापो (हिटलर की खुफिया पुलिस) छापे मारकर यहूदियों को अज्ञातवास से ढूँढ़ निकालती ओर यातनागृह में भेज देती। हिटलर के घायल सैनिकों में हिटलर से हाथ मिलाने का जोश, अराजकता का माहौल आदि। साथ ही यह डायरी ऐन के पारिवारिक सुख-दुःख और भावनात्मक स्थिति को प्रकट करती है - गरीबी, भुखमरी, अज्ञातवास में जीवन व्यतीत करना, दुनिया से बिलकुल कट जाना, पकड़े जाने का डर, आतंक। इस तरह यह डायरी ऐतिहासिक दस्तावेज होने के साथ-साथ ऐन के जीवन के सुख-दुख का चित्रण भी है।

Solution 5

ऐन अज्ञातवास में थी तब उसकी आयु मात्र आठ वर्ष की थी। अज्ञातवास में ऐन से बाते करनेवाला और उसके भावों को समझने वाला कोई न था एवं बड़ों की बातें सुनकर वह उब गई थी। वह एक निर्जीव गुडि़या को काल्पनिक मित्र बनाती है और उसे संबोधित कर अपने अनुभवों को डायरी के माध्यम से व्यक्त करती है।

Get Latest Study Material for Academic year 24-25 Click here
×