EVERGREEN PUBLICATION Solutions for Class 9 Hindi Chapter 4 - Vah Janambhumi Meri [Poem]
Chapter 4 - Vah Janambhumi Meri [Poem] Exercise प्रश्न-अभ्यास
कवि अपनी जन्मभूमि भारतमाता की बात कर रहा है।
कवि कहते है कि हिमालय इतना ऊँचा है मानो आसमान को चूम रहा है। वह हमारे भारत की रक्षा करता है।
गंगा, यमुना और सरस्वती त्रिवेणी नदियाँ है।
शब्द |
अर्थ |
मातृभूमि |
जन्म भूमि |
सिंधु |
समुद्र |
नित |
प्रतिदिन |
पुण्य भूमि |
पवित्र भूमि |
कवि ने भारत के लिए जन्मभूमि, मातृभूमि, धर्मभूमि तथा कर्मभूमि विशेषणों का प्रयोग किया है।
झरने भारत माता की पवित्र पहाड़ियों पर झरते हैं।
भारत में बहने वाली हवा सुगंधित है। यह हमारे तन-मन को सँवारती है।
शब्द |
अर्थ |
अमराइयाँ |
आम के पेड़ों के बाग |
मलय |
पर्वत का नाम |
पवन |
हवा |
कवि भारत की भूमि को पावन मानते हैं क्योंकि यहाँ राम, सीता, श्रीकृष्ण तथा गौतम जैसे महान अवतार अवतरित हुए थे।
गौतम बौद्ध धर्म चलाने वाले महापुरुष थे। उन्होंने जीवों पर दया रखने का उपदेश दिया।
उपर्युक्त पंक्ति का आशय यह है कि यह वहीं पवन भारत भूमि है जहाँ भगवान श्रीकृष्ण ने जन्म लिया था। गोकुल और मथुरा की गोपियों को अपनी मुरली की धुन से मोहित कर दिया था तथा कुरुक्षेत्र के युद्ध में अर्जुन को गीता का उपदेश दिया था।
शब्द |
अर्थ |
रघुपति |
भगवान श्री राम |
वंशी |
बांसुरी |
पुनीत |
पवित्र |
जंग |
संसार |
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